Farrukhabad: इतिहासकार, साहित्यकार एवं पुरातत्वविद् यशभारती डॉ. रामकृष्ण राजपूत (Dr. Ramkrishna Rajput) ने अपने पांच दशकों से संग्रहीत हजारों दुर्लभ अभिलेखीय सम्पदा को राष्ट्रीय अभिलेखागार (National Archives of India) को दान कर दिया है। यह दुर्लभ संग्रह भारतीय इतिहास और संस्कृति के अध्ययन के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण माना जा रहा है।

  • 17 दिसंबर को नई दिल्ली में एक विशेष समारोह का होगा आयोजन
  • समझौता ज्ञापन पर डॉ. रामकृष्ण राजपूत करेंगे हस्ताक्षर

राष्ट्रीय अभिलेखागार के अधिकारियों ने भूपेन्द्र प्रताप सिंह के अनुरोध पर पिछले दिनों फर्रुखाबाद आकर डॉ. राजपूत के इस विशाल संग्रह का अवलोकन किया। इसके बाद डॉ. रामकृष्ण राजपूत से दुर्लभ पुस्तकों को दान करने के लिए आमंत्रित किया और उन्होंने स्वीकार करते हुए निशुल्क दान करने का फैसला किया।

पिछले कई महीनों तक चली इस प्रक्रिया के बाद अब 17 दिसंबर, 2024 को नई दिल्ली में एक विशेष समारोह में डॉ. राजपूत राष्ट्रीय अभिलेखागार के साथ एक समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर करेंगे।

 

दुर्लभ संग्रह को इकट्ठा करने में लगाया जीवन का बड़ा हिस्सा

डॉ. राम कृष्ण राजपूत ने अपने जीवन का बड़ा हिस्सा इस दुर्लभ संग्रह को इकट्ठा करने में लगाया। उन्होंने भारत के विभिन्न हिस्सों से इन वस्तुओं को एकत्र किया। उनका यह दान भारतीय इतिहास और संस्कृति के अध्ययन के लिए एक अमूल्य योगदान है।

राष्ट्रीय अभिलेखागार में संग्रह का क्या होगा?

राष्ट्रीय अभिलेखागार इस दुर्लभ संग्रह को वैज्ञानिक तरीके से संरक्षित करेगा। इस संग्रह का डिजिटलीकरण और डॉक्यूमेंटेशन करके राष्ट्रीय अभिलेखागार के अभिलेख पटल के पोर्टल पर डाला जाएगा। इससे दुनिया भर के शोधार्थी, इतिहासकार, पुरातत्ववेत्ता और भाषा वैज्ञानिक इस संग्रह का अध्ययन कर सकेंगे।

यह भी पढ़ें:-

Farrukhabad Museum: राष्ट्रीय अभिलेखागार के उप निदेशक ने डॉ. रामकृष्ण राजपूत के संग्रहालय के डिजिटलीकरण पर दिया जोर

By GRAM SABHA TV

Gram Sabha TV is a rural India news platform which provides latest news and content on politics and crime, entertainment, sports, health and wellness, education, history and culture, lifestyle, technology, food and travel, spiritual and religion Etc.