देश में 18वीं लोकसभा (Lok Sabha Election 2024) के लिए चुनावी बिगुल बज चुका है। सात चरणों में होने वाले इस चुनाव में फर्रुखाबाद लोकसभा सीट (Farrukhabad Lok Sabha Constituency) पर चौथे चरण यानी 13 मई 2024 को मतदान (Election Poll) होना है। यहां से मौजूदा सांसद मुकेश राजपूत (Mukesh Rajput) को भारतीय जनता पार्टी (Bharatiya Janata Party) ने एक बार फिर चुनावी मैदान में उतारा है। वहीं, इंडिया गठबंधन में यह सीट समाजवादी पार्टी (Samajwadi Party) के पास है। सपा ने डॉ. नवल किशोर शाक्य (Dr. Naval Kishore Shakya) को अपना प्रत्याशी बनाया है जो पहली बार चुनाव लड़ रहे हैं। बीएसपी ने अभी तक इस सीट पर उम्मीदवार की घोषणा नहीं की है। कयास लगाए जा रहे हैं कि बीएसपी यहां किसी मुस्लिम चेहरे पर दांव लगा सकती है। इन्हीं चर्चाओं के बीच पेश है मोहम्मद आकिब खांन की खास रिपोर्ट…
महान कवयित्री महादेवी वर्मा की जन्मभूमि है ‘फर्रुखाबाद’
Farrukhabad Lok Sabha Election 2024: ऐतिहासिक, साहित्यिक, पौराणिक और राजनीतिक दृष्टिकोण से महत्वपूर्ण पहचान रखने वाला उत्तर प्रदेश का फर्रुखाबाद जनपद हिंदी साहित्य की महान कवयित्री महादेवी वर्मा (Mahadevi Verma) की जन्मभूमि और समाजवादी नेता डॉ. राम मनोहर लोहिया (Dr. Ram Manohar Lohia) की कर्मभूमि है। वहीं, देश के तीसरे राष्ट्रपति डॉ. जाकिर हुसैन (Dr Zakir Hussain) का नाम भी यहां की मिट्टी से जुड़ा है। इसके अलावा फर्रुखाबाद तबला घराना के संस्थापक हाजी विलायत अली (Ustad Haji Vilayat Ali Khan), ठुमरी सम्राट ललन पिया (Pandit Lalan Piya) और गीतकार अनवर फर्रुखाबादी (Anwar Farrukhabadi) भी इस मिट्टी के अंग हैं।
पांच विधानसभा सीट से मिलकर बनी है फर्रुखाबाद लोकसभा
Farrukhabad Lok Sabha Election 2024: फर्रुखाबाद लोकसभा सीट के अंतर्गत वर्तमान में 5 विधानसभा सीट आती हैं जिसमें 4 सीट (फर्रुखाबाद सदर, कायमगंज, अमृतपुर व भोजपुर) फर्रुखाबाद जिले की हैं वहीं एक सीट (अलीगंज) एटा जिले की शामिल है।
आजादी से अब तक आठ बार जीती कांग्रेस
Lok Sabha Election: आजादी से बाद 1952 से लेकर अब तक यहां कुल 18 बार लोकसभा के लिए चुनाव व उपचुनाव हुए हैं, जिसमें कांग्रेस ने आठ बार, सोशलिस्ट पार्टी (लोहिया) ने एक बार, जनता पार्टी ने दो बार, जनता दल ने एक बार, भारतीय जनता पार्टी ने चार बार और समाजवादी ने दो बार जीत हासिल की है।
बीएसपी लगा सकती है मुस्लिम चेहरे पर दांव
लोकसभा चुनाव 2024 में भारतीय जनता पार्टी ने एक बार फिर मुकेश राजपूत को पार्टी का उम्मीदवार बनाया है। वहीं, गठबंधन में यह सीट कांग्रेस को न मिलने से सलमान खुर्शीद इस बार चुनाव मैदान में नहीं हैं और समाजवादी पार्टी ने डॉ. नवल किशोर शाक्य को प्रत्याशी बनाया है। इसके साथ ही बहुजन समाज पार्टी ने अभी तक यहां पर सियासी पत्ते नहीं खोले हैं। कयास लगाए जा रहे हैं कि बीएसपी यहां किसी मुस्लिम चेहरे पर दांव लगा सकती है।
क्या होगा इस बार…?
अब यह देखने वाली बात होगी कि मुकेश राजपूत जीत की हैट्रिक लगाकर फर्रुखाबाद के पहले सांसद मूलचंद दुबे का रिकॉर्ड तोड़ेंगे या पहली बार किस्मत आजमा रहे डॉ. नवल किशोर शाक्य संसद पहुंचेंगे या फिर कोई और…!
देश के पहले लोकसभा चुनाव से लेकर अब तक
1952 के पहले लोकसभा चुनाव में कांग्रेस से मूलचंद दुबे (Pt. Mulchand Dubey) सांसद चुने गए थे। उन्होंने 1957 में दूसरी बार और 1962 में तीसरी बार हुए लोकसभा चुनाव में जीत की हैट्रिक लगाई थी। हालांकि 1962 का चुनाव जीतने के कुछ दिनों बाद ही 26 जनवरी 1963 को उन्होंने इस दुनिया को अलविदा कह दिया।
इसके बाद 1963 में उपचुनाव हुए और प्रखर समाजवादी नेता डॉ. राम मनोहर लोहिया (Dr. Ram Manohar Lohia) ने पहली बार कांग्रेस को इस सीट पर शिकस्त दी और संसद पहुंचे। इसके बाद 1967 और 1971 के लोकसभा चुनाव में अवधेश चन्द्र सिंह राठौर (Awadhesh Chandra Singh Rathore) के रूप में एक बार फिर कांग्रेस ने वापसी की वहीं 1977 और 1980 के चुनाव में जनता पार्टी से दयाराम शाक्य (Daya Ram Shakya) लगातार दो बार सांसद चुने गए।
इसके बाद 1984 के चुनाव में खुर्शीद आलम खांन (Khurshed Alam Khan) के रूप में कांग्रेस ने एक बार फिर वापसी की वहीं, 1989 में जनता दल के टिकट पर पत्रकार संतोष भारतीय (Santosh Bhartiya) ने जीत अर्जित की और संसद पहुंचे।
1991 में सलमान खुर्शीद (Salman Khurshid) के रूप में कांग्रेस ने एक बार फिर वापसी की। 1996 और 1998 के चुनाव में भारतीय जनता पार्टी के टिकट पर डॉ. सच्चिदानंद हरि साक्षी महाराज (Swami Sachchidanand Hari Sakshi Ji Maharaj) ने लगातार दो बार जीत हासिल की थी।
1999 और 2004 में समाजवादी पार्टी से चंद्र भूषण सिंह उर्फ मुन्नू बाबू (Chandra Bhushan Singh alias Munnoo Babu) लगातार दो बार सांसद चुने गए। इसके बाद 2009 में एक बार फिर कांग्रेस के सलमान खुर्शीद (Salman Khurshid) ने वापसी की और 2014 और 2019 के चुनाव में भारतीय जनता पार्टी के टिकट पर मुकेश राजपूत (Mukesh Rajput) ने लगातार दो बार जीत का परचम लहराया और संसद पहुंचे।